बिहार के मैट्रिक टॉपर : सभी मामूली परिवारों के बच्चे
जानिए जरा....बिहार के मैट्रिक टॉपरों को,सभी मामूली परिवारों के बच्चे
औरंगाबाद. सीतयोग न्यूज आपको आज परिचित करा है बिहार बोर्ड की मैट्रिक परीक्षा में फर्स्ट सेकेण्ड और थर्ड रैंक लानेवाले होनहारों से। ख़ास बात यह कि ये सभी मामूली और आम घरों की ख़ास प्रतिभाएं हैं ---
पहला स्थान बिहार के छोटे से जिले शेखपुरा के इस्लामिया स्कूल के मो रूमान अशरफ ने पाया है. अशरफ को 500 में 489 अंक मिले हैं.
अशरफ ने बताया कि उनके परिवार ने पढ़ने की प्रेरणा दी. घर के लोग पढ़ने को कहते थे. टॉपर बनते ही अशरफ के घर बधाई देने वाले जुट गए. अशरफ का कहना है कि परीक्षा देकर आने के बाद वो बहुत नंबर वगैरह नहीं जोड़ते थे. हां ये पता रहता था कि पेपर अच्छा गया है. उन्होंने ये भी कहा कि आगे की योजना के बारे में बहुत नहीं सोचा है अभी. आपको बता दें कि अशरफ के पिता प्राइमरी स्कूल में शिक्षक हैं.
दूसरे स्थान पर नम्रता कुमारी,भोजपुर और ज्ञानी अनुपमा,औरंगाबाद.
भोजपुर की नम्रता को परीक्षा परिणाम में 500 में 486 अंक मिला है। वह निर्मला मिशन शिक्षा भवन उच्च विद्यालय, शाहपुर की छात्रा और शाहपुर प्रखंड के बनाही गांव निवासी किसान विनोद कुमार मिश्र की बेटी है। जिसने नियमित पढ़ाई, एकाग्रता और मेहनत के बदौलत यह सफलता हासिल की है। नम्रता की पहली प्राथमिकता और लक्ष्य बिहार टॉपर बनना था। इसके लिए उसने पढ़ाई के लिए रूटीन बना रखा था।
आवश्यक कार्यों के कारण जब भी रूटीन पढ़ाई में बाधा होती थी, तब वह समय बचने पर पढ़ाई करती थी। साथ ही घरेलू काम में भी हाथ बंटाया करती थी। लेकिन वह पढ़ना नहीं भूलती थी। वह प्रतिदिन 8 से 10 घंटे पढ़ाई करती थी। बिहार में उसके दूसरे स्थान आने पर पूरे जिले के लोग गर्व महसूस कर रहे है़ं। नम्रता के पिता एक छोटे किसान हैं।
आईएएस बनना चाहती है ज्ञानी अनुपमा
ज्ञानी अनुपमा कहती हैं कि आगे की पढ़ाई कर आईएएस बनना चाहती है। उन्होंने अपनी सफलता का 'मंत्र' बताते हुए कहा कि वो सोशल मीडिया से दूर रहती हैं और दूसरे छात्रों को भी दूर रहने की सलाह देती हैं। उन्होंने कहा कि वो हर दिन चार से छः घंटे की पढ़ाई करती थीं। पढ़ाई के लिए मेहनत से कभी वो पीछे नहीं रही। वो अपने जैसे छात्रों के लिए संदेश में कहती हैं कि जमकर मेहनत करिएं। सफलता जरूर मिलेगी। बिहार मैट्रिक सेकेंड टॉपर नम्रता ने कहा कि उनकी इच्छा आईएएस अधिकारी बनने की है.अनुपमा के पिता पंचायत सचिव और मां मामूली गृहणी हैं।
तीसरे स्थान पर- संजू कुमारी,नालंदा.,भावना कुमारी,पश्चिम चंपारण और लखीसराय का जयनंदन कुमार पंडित
संजू कुमारी बनना चाहती है आईएएस हिलसा प्रखंड के दल्लू बीघा हाई स्कूल की छात्रा संजू कुमारी हिलसा नगर थाना क्षेत्र के गांधीनगर मोहल्ले की रहने वाली है उसने 500 में से 484 अंक प्राप्त किए हैं संजू के पिता सत्येंद्र कुमार किसान है और मां गृहिणी है संजू ने बताया कि वह रोजाना दो से 4 घंटा पढ़ाई करती थी और कोचिंग के अलावा सेल्फ स्टडी करती थी मां पिता के अलावा छोटे भाई और बहन के साथ किराए के मकान में रहती है संजू आईएएस बनकर देश की सेवा करना चाहती है.
भावना कुमारी मैट्रिक की परीक्षा में बेतिया के योगापट्टी प्रखंड क्षेत्र के दोनवार पंचायत की भावना कुमारी ने 484 अंक लाकर तीसरा स्थान प्राप्त किया है. भावना ने मैट्रिक की परीक्षा में तीसरा स्थान प्राप्त कर पूरे जिले का नाम रोशन किया है.
ओझवलिया गांव के रहने वाले राकेश झा की बेटी भावना ने तीसरा स्थान प्राप्त किया है. इससे भावना के पूरे परिवार वाले काफी खुश हैं. परिवार वालों को भावना पर गर्व है. भावना के पिता राकेश झा चीनी मिल में वर्कर हैं. भावना कुमारी ने बताया कि वह परिणाम से बहुत खुश हैं और आगे भारतीय प्रशासनिक सेवा ज्वाइन करना उनका सपना है. वहीं, इस मौके पर भावना के पिता राकेश झा ने कहा कि उनकी बेटी मैट्रिक बोर्ड में पूरे बिहार में टॉपर लिस्ट में तीसरा स्थान प्राप्त कर जिले का नाम रोशन किया है.
जयनंदन कुमार पंडित ने बिहार बोर्ड मैट्रिक परीक्षा 2023 में 500 से 484 अंक प्राप्त किए है और मेरिट में तीसरी रैंक हासिल की है . जयनंदन के पिता विजय पंडित पान की दुकान चलाते हैं रंजू देवी ग्रहणी है घर का खर्चा उसी छोटी सी दुकान से चलते हैं आर्थिक स्थिति इतनी भी अच्छी नहीं है फिर भी पिता ने बेटे की लड़ाई में कोई कसर नहीं छोड़ी बेटे को भी मालूम है कि अगर जिंदगी में कुछ हासिल करना है तो कड़ी मेहनत करनी होगी बोर्ड परीक्षा की तैयारी के लिए रात दिन मेहनत की और आज पूरे राज्य मे तीसरे रैंक प्राप्त कर परिवार का मान बढ़ाया है.